भूऊष्मीय ऊर्जा क्या है ?
उत्तर-पृथ्वी के अन्दर दबावकारी शक्तियाँ कार्य करती है, जिस कारण चट्टानें पिघल जाती है और गहरे गर्म क्षेत्र का निर्माण हो जाता है। भूमिगत जल ड्स गर्म क्षेत्र के संपर्क में आता है तो बड़ी मात्रा में गर्म भाप उत्पन्न होता है। कभी-कभी इस क्षेत्र से गर्म पानी एवं भाप बाहर झरने के रूप मैं निकलते हैं। चट्टानों में कैसी भाप पाइप से होकर टरबाड्न तर्क भेजू दी जाती है तथा विद्युत का उत्पादन किया जाता है। इस प्रकार पथ्वी कै भ-गर्भ से निकले गर्म भाप एवं पानी र्का जो झुर्जा प्राप्त होता है उसे भू-ऊष्मीय ऊर्जा कहते हैं ।