प्रथम विश्वयुद्ध के प्रमुख कारणों का संक्षिप्त विवरण दें।
उत्तर:-(क) यूरोप की शक्ति संतुलन का बिगड़ना- 1987 में जर्मनी के एकीकरण के पूर्व यूरोपीय राजनीति में जर्मनी की महत्वपूर्ण भूमिका नहीं थी। परन्तु बिस्मार्क के नेतृत्व में एक शक्तिशाली जर्मन राष्ट्र का उदय हुआ। इससे यूरोपीय शक्ति संतुलन गड़बड़ा गया। इंगलैंड और फ्रांस के लिए जर्मनी एक चुनौती बन गया। इससे यूरोपीय राष्ट्रों में प्रतिस्पर्धा को भावना बढी।
(ख) गुप्त संधियाँ एवं गुटों का निर्माण- जर्मनी के एकीकरण के बाद वहाँ के चांसलर बिस्मार्क ने अपने देश को यूरोपीय राजनीति में प्रभावशाली बनाने के लिए तथा फ्रांस को यूरोप की राजनीति में तटस्थ बनाये रखने के लिए गुप्त संधियों की नीतियाँ अपनायी। उसने आस्ट्रिया हंगरी (1879) के साथ वैध संधि की।
(ग) जर्मनी और फ्रांस की शत्रुता- जर्मनी एवं फ्रांस के मध्य पुरानी दुश्मनी थी। जर्मनी के एकीकरण के दौरान बिस्मार्क ने फ्रांस के धनी प्रदेश अल्लसेस लोरेन पर अधिकार कर लिया था। मोरक्को में भी फ्रांसीसी हितों को क्षति पहुँची गयी थी। इसलिए, फ्रांस का जनमत जर्मनी के विरुद्ध था।
(घ) साम्राज्यवाद प्रतिस्पर्धा- साम्राज्यवाद देशों का साम्राज्य विस्तार के लिए आपसी प्रतिद्वंद्विता एवं हितों की टकराहट प्रथम विश्वयुद्ध का मूल कारण माना जा सकता है। जर्मनी और इटली जब बाद में उपनिवेशवादी दौड़ में सम्मिलित हुए तो उनके विस्तार के लिए बहुत कम संभावना थीं। अतः, इन लोगों ने उपनिवेशवादी विस्तार की एक नयी नीति अपनायी। यह नीति थी दसरे राष्ट्रों के उपनिवेशों पर बलपूर्वक अधिकार कर अपनी स्थिति सुदृढ़ करने की।
(इ) सैन्यवाद - साम्राज्यवाद के समान सैन्यवाद ने भी प्रथम विश्वयुद्ध को निकट ला दिया। प्रत्येक राष्ट्र अपनी सुरक्षा एवं विस्तारवादी नीति को कार्यन्वित करने के लिए अस्त्र शस्त्रों के निर्माण एवं उनकी खरीद बिक्री में लग गया। फलतः युद्ध के लिए अस्त्र शस्त्र बनाए गए। इस प्रकार, पूरा यूरोप चिंगारी के ढेर पर बैठ गया, बस विस्फोट होने की देरी थी। यह विस्फोट 1914 में हुआ था।